ग्लूकोमा (काला मोतियाबिंद): लक्षण, कारण, प्रकार और कैसे करें अपनी आंखों की सुरक्षा

 

ग्लूकोमा (काला मोतियाबिंद): लक्षण, कारण, प्रकार और कैसे करें अपनी आंखों की सुरक्षा

Glaucoma


परिचय (Introduction)

ग्लूकोमा, जिसे काला मोतियाबिंद भी कहा जाता है, आंखों की बीमारियों का एक समूह है जो ऑप्टिक नर्व (optic nerve) को नुकसान पहुंचाता है। ऑप्टिक नर्व आंख से मस्तिष्क तक दृश्य जानकारी पहुंचाती है। कई मामलों में, यह नुकसान आंखों के अंदर असामान्य रूप से उच्च दबाव के कारण होता है। ग्लूकोमा अंधेपन का एक प्रमुख कारण है, खासकर वृद्ध वयस्कों में, लेकिन यह किसी भी उम्र में हो सकता है।

दुर्भाग्य से, ग्लूकोमा के अधिकांश रूपों में शुरुआती अवस्था में कोई चेतावनी संकेत नहीं होते हैं। लोग अक्सर तब तक दृष्टि खो देते हैं जब तक कि बीमारी बहुत आगे न बढ़ जाए। यही कारण है कि नियमित आंखों की जांच बहुत महत्वपूर्ण है।

इस लेख में, हम ग्लूकोमा के विभिन्न प्रकारों, इसके लक्षणों, कारणों, निदान की प्रक्रिया और सबसे महत्वपूर्ण – अपनी दृष्टि को बचाने के लिए उपलब्ध उपचारों और बचाव के तरीकों पर विस्तार से चर्चा करेंगे।


ग्लूकोमा क्या है? (What is Glaucoma?)

ग्लूकोमा एक ऐसी स्थिति है जो ऑप्टिक नर्व को नुकसान पहुंचाती है। यह तंत्रिका आंख के पीछे स्थित होती है और आंख से मस्तिष्क तक दृश्य जानकारी पहुंचाती है। इस तंत्रिका को नुकसान होने से दृष्टि हानि हो सकती है और अंततः अंधापन हो सकता है।

ज्यादातर मामलों में, ग्लूकोमा उच्च अंतःनेत्र दबाव (increased intraocular pressure - IOP) से जुड़ा होता है। आंख के अंदर एक तरल पदार्थ होता है जिसे जलीय हास्य (aqueous humor) कहा जाता है। यह तरल लगातार बनता और निकलता रहता है। जब यह तरल ठीक से नहीं निकल पाता है, तो आंख के अंदर दबाव बढ़ जाता है। यह बढ़ा हुआ दबाव ऑप्टिक नर्व को नुकसान पहुंचा सकता है।


ग्लूकोमा के प्रकार (Types of Glaucoma)

ग्लूकोमा के कई प्रकार हैं, लेकिन सबसे आम हैं:

  • ओपन-एंगल ग्लूकोमा (Open-Angle Glaucoma): यह ग्लूकोमा का सबसे आम प्रकार है। इसमें, आंख का जल निकासी कोण (drainage angle) खुला रहता है, लेकिन तरल पदार्थ धीरे-धीरे निकलता है। इससे आंख के अंदर दबाव धीरे-धीरे बढ़ता है, जिससे ऑप्टिक नर्व को नुकसान पहुंचता है।
    • शुरुआती चरणों में कोई लक्षण नहीं होते हैं, जिससे इसका पता लगाना मुश्किल हो जाता है।
  •  एंगल-क्लोजर ग्लूकोमा (Angle-Closure Glaucoma):इसे नैरो-एंगल ग्लूकोमा भी कहा जाता है। इसमें, आंख का जल निकासी कोण संकरा या बंद हो जाता है, जिससे तरल पदार्थ का प्रवाह अचानक रुक जाता है। इससे आंख के अंदर दबाव तेजी से बढ़ता है।
    • इसके लक्षण अचानक और गंभीर हो सकते हैं, जैसे आंखों में तेज दर्द, धुंधली दृष्टि, मतली और उल्टी। यह एक चिकित्सा आपातकाल है।
  • सामान्य-तनाव ग्लूकोमा (Normal-Tension Glaucoma):इस प्रकार में, ऑप्टिक नर्व को नुकसान होता है, भले ही आंख के अंदर दबाव सामान्य हो। इसका कारण अभी तक पूरी तरह से समझा नहीं गया है, लेकिन यह ऑप्टिक नर्व को रक्त की आपूर्ति में कमी से संबंधित हो सकता है।
  • जन्मजात ग्लूकोमा (Congenital Glaucoma):यह एक दुर्लभ प्रकार का ग्लूकोमा है जो जन्म से ही मौजूद होता है।
  • द्वितीयक ग्लूकोमा (Secondary Glaucoma):यह अन्य चिकित्सा स्थितियों, जैसे मोतियाबिंद, आंख की चोट, सूजन या कुछ दवाओं के कारण हो सकता है।

ग्लूकोमा के लक्षण (Symptoms of Glaucoma)

ग्लूकोमा के लक्षण प्रकार और चरण के आधार पर भिन्न होते हैं:

ओपन-एंगल ग्लूकोमा:

  • शुरुआती चरणों में, आमतौर पर कोई लक्षण नहीं होते हैं।
  • जैसे-जैसे बीमारी बढ़ती है, परिधीय दृष्टि (peripheral vision) धीरे-धीरे कम होती जाती है।
  • उन्नत चरणों में, सुरंग जैसी दृष्टि (tunnel vision) हो सकती है।

एंगल-क्लोजर ग्लूकोमा:

  • इसके लक्षण अचानक और गंभीर हो सकते हैं:
    • आंखों में तेज दर्द।
    • धुंधली दृष्टि।
    • मतली और उल्टी।
    • सिरदर्द।
    • रोशनी के चारों ओर प्रभामंडल (halos) दिखाई देना।
    • आंख का लाल होना।

सामान्य-तनाव ग्लूकोमा:

  • ओपन-एंगल ग्लूकोमा के समान, शुरुआती चरणों में कोई लक्षण नहीं होते हैं।
  • परिधीय दृष्टि धीरे-धीरे कम होती जाती है।

जन्मजात ग्लूकोमा:

  • शिशुओं में, लक्षण शामिल हो सकते हैं:
    • बादल वाली आंखें।
    • प्रकाश के प्रति संवेदनशीलता।
    • अत्यधिक आंसू आना।

ग्लूकोमा के कारण और जोखिम कारक (Causes and Risk Factors of Glaucoma)

ग्लूकोमा का सटीक कारण पूरी तरह से ज्ञात नहीं है, लेकिन कई कारक इसके जोखिम को बढ़ा सकते हैं:

  • उच्च अंतःनेत्र दबाव (High Intraocular Pressure - IOP): यह ग्लूकोमा का मुख्य जोखिम कारक है।
  • आयु: 60 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों में ग्लूकोमा का खतरा बढ़ जाता है।
  • जातीयता: अफ्रीकी मूल के लोगों में ओपन-एंगल ग्लूकोमा होने की संभावना अधिक होती है। एशियाई मूल के लोगों में एंगल-क्लोजर ग्लूकोमा का खतरा अधिक होता है।
  • पारिवारिक इतिहास: यदि आपके परिवार में ग्लूकोमा का इतिहास है, तो आपको इस बीमारी के विकसित होने का खतरा अधिक होता है।
  • कुछ चिकित्सा स्थितियां: मधुमेह, उच्च रक्तचाप और हृदय रोग ग्लूकोमा के जोखिम को बढ़ा सकते हैं।
  • आंख की चोट: आंख में गंभीर चोट लगने से ग्लूकोमा हो सकता है।
  • कुछ दवाएं: कॉर्टिकोस्टेरॉइड्स जैसी कुछ दवाओं का लंबे समय तक उपयोग करने से ग्लूकोमा का खतरा बढ़ सकता है।

ग्लूकोमा का निदान (Diagnosis of Glaucoma)

Glaucoma


ग्लूकोमा का निदान एक व्यापक नेत्र परीक्षण के माध्यम से किया जाता है:

  • टोनोमेट्री (Tonometry): आंख के अंदर दबाव को मापना।
  • गोनिओस्कोपी (Gonioscopy): आंख के जल निकासी कोण की जांच करना।
  • ऑप्थाल्मोस्कोपी (Ophthalmoscopy): ऑप्टिक नर्व की जांच करना।
  • दृश्य क्षेत्र परीक्षण (Visual Field Test): परिधीय दृष्टि की जांच करना।
  • ऑप्टिकल कोहेरेंस टोमोग्राफी (Optical Coherence Tomography - OCT): ऑप्टिक नर्व की छवियों को लेना।
  • पैकीमेट्री (Pachymetry): कॉर्निया की मोटाई को मापना।

ग्लूकोमा का उपचार (Medical Treatment of Glaucoma)

ग्लूकोमा से होने वाली दृष्टि हानि अपरिवर्तनीय है। उपचार का लक्ष्य बीमारी की प्रगति को धीमा करना या रोकना और शेष दृष्टि को बचाना है।

उपचार के विकल्प में शामिल हैं:

आई ड्रॉप्स (Eye Drops):
  • ये ग्लूकोमा का सबसे आम उपचार हैं। वे आंख के अंदर दबाव को कम करने में मदद करते हैं। विभिन्न प्रकार की आई ड्रॉप्स उपलब्ध हैं, और डॉक्टर आपकी स्थिति के लिए सबसे उपयुक्त दवा लिखेंगे।

लेजर उपचार (Laser Treatment):

  • लेजर ट्रेबेकुलोप्लास्टी (Laser Trabeculoplasty): ओपन-एंगल ग्लूकोमा के लिए। यह जल निकासी कोण को खोलता है।
  • लेजर इरिडोटोमी (Laser Iridotomy): एंगल-क्लोजर ग्लूकोमा के लिए। यह परितारिका (iris) में एक छोटा सा छेद बनाता है ताकि तरल पदार्थ बह सके।
  • साइक्लोफोटोकोएग्यूलेशन (Cyclophotocoagulation): गंभीर ग्लूकोमा के लिए। यह आंख में तरल पदार्थ बनाने वाले ऊतक को नष्ट करता है।

सर्जरी (Surgery):

  • ट्रेबेकुलेक्टोमी (Trabeculectomy): एक नया जल निकासी मार्ग बनाने के लिए सर्जरी।
  • ग्लूकोमा ड्रेनेज डिवाइस (Glaucoma Drainage Devices): आंख में एक छोटी सी ट्यूब लगाई जाती है ताकि तरल पदार्थ निकल सके।
  • न्यूनतम इनवेसिव ग्लूकोमा सर्जरी (Minimally Invasive Glaucoma Surgery - MIGS): नए और कम आक्रामक सर्जिकल प्रक्रियाएं।

ग्लूकोमा से बचाव के उपाय (Prevention Measures for Glaucoma)

ग्लूकोमा को पूरी तरह से रोका नहीं जा सकता है, लेकिन कुछ उपाय बीमारी का जल्दी पता लगाने और दृष्टि हानि को रोकने में मदद कर सकते हैं:

  1. नियमित आंखों की जांच (Regular Eye Exams):
    • ग्लूकोमा के लिए नियमित रूप से आंखों की जांच करवाना सबसे महत्वपूर्ण है, खासकर यदि आपके पास जोखिम कारक हैं। 40 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों को हर 1-2 साल में जांच करवानी चाहिए।
  2. अपने पारिवारिक इतिहास के बारे में जानें (Know Your Family History):

    • यदि आपके परिवार में ग्लूकोमा का इतिहास है, तो अपने डॉक्टर को बताएं।
  3. स्वस्थ जीवनशैली अपनाएं (Maintain a Healthy Lifestyle):

    • स्वस्थ वजन बनाए रखें, नियमित व्यायाम करें और संतुलित आहार लें।
  4. आंख की चोटों से बचें (Avoid Eye Injuries):

    • खेल खेलते समय या खतरनाक काम करते समय सुरक्षात्मक चश्मा पहनें।
  5. कॉर्टिकोस्टेरॉइड्स का सावधानीपूर्वक उपयोग करें (Use Corticosteroids Cautiously):

    • इन दवाओं का लंबे समय तक उपयोग करने से ग्लूकोमा का खतरा बढ़ सकता है। अपने डॉक्टर की सलाह का पालन करें।


अस्वीकरण (Disclaimer): ग्लूकोमा एक गंभीर नेत्र रोग है और इस लेख में दी गई जानकारी केवल सामान्य जागरूकता और शैक्षिक उद्देश्यों के लिए है। इसका उपयोग स्वयं-निदान या स्वयं-उपचार के लिए नहीं किया जाना चाहिए। यदि आपको ग्लूकोमा के लक्षण महसूस होते हैं या आप अपनी आंखों के स्वास्थ्य के बारे में चिंतित हैं, तो कृपया तुरंत किसी योग्य नेत्र रोग विशेषज्ञ (ophthalmologist) से संपर्क करें और नियमित आंखों की जांच करवाएं।

क्या आपके पास ग्लूकोमा के बारे में कोई प्रश्न या अनुभव है? नीचे कमेंट बॉक्स में अपने विचार साझा करें।


स्रोत (References)

  • विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) - [लिंक: ग्लूकोमा पर WHO की आधिकारिक जानकारी]
  • रोग नियंत्रण और रोकथाम केंद्र (CDC) - [लिंक: CDC की ग्लूकोमा जानकारी]
  • राष्ट्रीय नेत्र संस्थान (National Eye Institute - NIH) - [लिंक: NIH की ग्लूकोमा जानकारी]

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